जार्डन की सशस्त्र सेना के पूर्व उप चीफ़ ने बिन गोरियन हवाई अड्डे पर यमनी मिसाइल की प्रतिक्रिया में कहा है कि इस समय क्षेत्र में जो युद्ध चल रहा है यह हमला उस युद्ध में आश्चर्यजनक परिवर्तन का सूचक है।
पार्सटुडे की रिपोर्ट के अनुसार जार्डन की सशस्त्र सेना के पूर्व उप चीफ़ और सैनिक मामलों के विशेषज्ञ क़ासिद महमूद ने कहा कि यमन के अंसारुल्लाह ने बिन गोरियन हवाई अड्डे की ओर जो मिसाइल फ़ायर किया वह विचित्र था और क्षेत्र में इस समय जो युद्ध हो रहा है उसमें आश्चर्यजनक परिवर्तन का सूचक है।
उन्होंने कहा कि इस मिसाइल का निशाना बहुत सूक्ष्म व सटीक था और उसने एक बार फ़िर क्षेत्र के वर्तमान युद्ध में यमन की सक्रिय उपस्थिति का एलान कर दिया।
जार्डन के सैनिक मामलों के वरिष्ठ विशेषज्ञ ने बल देकर कहा कि इस हमले ने अमेरिका और इस्राईल के एअर डिफ़ेन्स की अनुपयोगिता को सिद्ध कर दिया।
इस विशेषज्ञ के एलान के अनुसार ज़ायोनी सरकार पांच परतों पर आधारित एअर डिफ़ेन्स सिस्टम पर प्रसन्न व मगन थी और इस मिसाइल का इस्राईल के एक संवेदनशील लक्ष्य तक यानी बिन गोरियन हवाई अड्डे तक पहुंचना पहले चरण में इस बात का सूचक है कि ज़ायोनी सरकार के एअर डिफ़ेन्स को पार किया जा सकता है और दूसरे चरण में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इस्राईल की छवि को सीधे चुनौती दी जा सकती है और एअर लाइनों और उनके निवेशकों के विश्वास व भरोसे को समाप्त कर दिया जो इन कंपनियों द्वारा उड़ानों के रद्द किये जाने से स्पष्ट है।
क़ासिद ने कहा कि इन हमलों का सीधा संदेश वाशिंग्टन और तेअलवीव के लिए है यह है कि सैनिक मार्गों का कोई फ़ायदा नहीं है और ग़ज़ा पर हमले जारी रहने का प्रभाव व परिणाम फ़िलिस्तीन की सीमाओं से बाहर जा रहा है।
इसी प्रकार जार्डन विशेषज्ञ ने कहा कि इस हमले ने तेलअवीव पर भारी दबाव डाला है और इस्राईल की आंतरिक व आर्थिक सुरक्षा ख़तरे में पड़ गयी है। इस हमले का क्षेत्र और दुनिया के लिए राजनीतिक संदेश यह है कि शक्ति का संतुलन और निरोधक क्षमता बदल रही है। MM