अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प सरकार के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार Mike Waltz ने इस्लामी गणतंत्र ईरान के बारे में अमेरिकी अधिकारियों के दावों की पुनरावृत्ति करते हुए दावा किया कि वाशिंग्टन अगले एक महीने में तेहरान के बारे में महत्वपूर्ण निर्णय लेगा।
Mike Waltz ने दावा किया कि ज़ायोनी सरकार की कार्यवाही व हमले ने ईरान को कमज़ोर कर दिया है और ईरान का एअर डिफ़ेन्स सिस्टम तबाह हो गया है।
पार्सटुडे की रिपोर्ट के अनुसार ट्रम्प सरकार के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार के बयान को ईरान के संबंध में उनकी उस आकांक्षा का नाम दिया जा सकता है जो कभी भी पूरी होने वाली नहीं है।
ईरान की सशस्त्र सेना ने जो अभी हाल ही में बड़े पैमाने पर सैन्य अभ्यास किया और उसमें एअर डिफ़ेन्स सहित विभिन्न प्रकार के हथियारों को दिखाया गया जैसे युद्धक विमानों और मिसाइलों को मार गिराने वाले हथियारों और रक्षा सिस्टम को दिखाया गया।
ईरान की सशस्त्र सेना के रक्षा हथियारों के एक छोटे से भाग को देखकर ट्रम्प सरकार के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार के दावे की वास्तविकता को भली-भांति समझा जा सकता है।
रोचक बात यह है कि ज़ायोनी सरकार ने ईरान के एअर डिफ़ेन्स पर जो हमला किया था और उसमें ईरान के एअर डिफ़ेन्स को आंशिक तौर पर जो नुकसान पहुंचा था शीघ्र ही उसका पुनर्निर्माण कर दिया गया।
दूसरा मामला यह है कि पहली बार जब ट्रम्प सत्ता में आये थे और वह अमेरिका के राष्ट्रपति बने थे तो उन्होंने ईरान की इस्लामी व्यवस्था को कमज़ोर करने के लिए तेहरान पर अधिक से अधिक दबाव डालने की नीति अपनाई और ईरान पर बहुत से प्रतिबंध लगाये जो अब तक जारी हैं।
वाशिंग्टन ने इस अपेक्षा के साथ तेहरान के ख़िलाफ़ कड़ा से कड़ा प्रतिबंध लगाया कि ईरान अमेरिका की ग़ैर क़ानूनी व अतार्किक मांगों के सामने घुटने टेक देगा परंतु ईरान कभी भी अमेरिका सहित किसी भी वर्चस्ववादी की अतार्किक मांग के सामने नहीं झुका।
उल्लेखनीय है कि बाइडेन सरकार ने तेहरान के ख़िलाफ़ अधिकतम दबाव की नीति की नाकामी व विफ़लता को स्वीकार किया है और ईरान अधिक से अधिक प्रतिरोध की नीति अपनाकर अमेरिकी नीति का प्रभावी ढंग से मुक़ाबला कर रहा है। MM