ईरान ने हाल ही में इजराइल के हमलों के जवाब में होर्मुज जलडमरूमध्य को बंद करने या तेल आपूर्ति लाइन को बाधित करने की धमकी दी है। यह जलडमरूमध्य वैश्विक तेल व्यापार का एक महत्वपूर्ण गलियारा है, जहां से दुनिया का लगभग 20% तेल और 25% प्राकृतिक गैस गुजरती है। यदि ईरान अपनी धमकी को अंजाम देता है, तो इसका अमेरिका की अर्थव्यवस्था और वैश्विक स्थिति पर गहरा प्रभाव पड़ सकता है।
तेल की कीमतों में उछाल होर्मुज जलडमरूमध्य बंद होने से तेल की वैश्विक आपूर्ति में कमी आएगी, जिससे कच्चे तेल की कीमतें आसमान छू सकती हैं। 13 जून 2025 को ब्रेंट क्रूड की कीमत पहले ही $75 प्रति बैरल के आसपास है। आपूर्ति बाधित होने पर यह $100-$150 तक पहुंच सकती है। अमेरिका, जो तेल का बड़ा उपभोक्ता है, में गैसोलीन की कीमतें बढ़ेंगी, जिससे मुद्रास्फीति बढ़ेगी और आम नागरिकों का जीवन प्रभावित होगा।
अमेरिकी अर्थव्यवस्था पर दबाव उच्च तेल कीमतें अमेरिकी उद्योगों, विशेष रूप से परिवहन और विनिर्माण क्षेत्र को प्रभावित करेंगी। इससे माल की ढुलाई लागत बढ़ेगी, जो उपभोक्ता वस्तुओं की कीमतों में वृद्धि का कारण बनेगी। छोटे व्यवसायों और कम आय वाले परिवारों पर इसका बोझ सबसे ज्यादा पड़ेगा। साथ ही, अमेरिकी शेयर बाजार में अस्थिरता बढ़ सकती है, क्योंकि ऊर्जा क्षेत्र की कंपनियों को छोड़कर अन्य क्षेत्रों में मुनाफा कम हो सकता है।
अमेरिका की ऊर्जा स्वतंत्रता का मिथक हालांकि अमेरिका ने शेल तेल उत्पादन बढ़ाकर अपनी ऊर्जा स्वतंत्रता को मजबूत किया है, फिर भी वह वैश्विक तेल बाजार पर निर्भर है। घरेलू तेल उत्पादन तत्काल आपूर्ति की कमी को पूरा नहीं कर सकता, और रणनीतिक पेट्रोलियम भंडार (SPR) का उपयोग केवल अल्पकालिक राहत दे सकता है। 2025 में SPR पहले ही 10 साल के निचले स्तर पर है, जिससे दीर्घकालिक समाधान की संभावना कम है।
भू-राजनीतिक प्रभाव होर्मुज बंद होने से अमेरिका के सहयोगी, जैसे यूरोप और जापान, जो मध्य पूर्वी तेल पर अधिक निर्भर हैं, संकट में पड़ सकते हैं। इससे अमेरिका पर अपने सहयोगियों की मदद करने का दबाव बढ़ेगा, जो सैन्य और आर्थिक संसाधनों को तनावग्रस्त कर सकता है। साथ ही, चीन और रूस जैसे देश ईरान का समर्थन कर सकते हैं, जिससे वैश्विक ध्रुवीकरण बढ़ेगा।
अमेरिका की जवाबी कार्रवाई अमेरिका होर्मुज को खोलने के लिए सैन्य हस्तक्षेप कर सकता है, जैसा कि 1980 के दशक में टैंकर युद्ध के दौरान किया था।लेकिन 1980 का ईरान ओर आज का ईरान मे बहुत फर्क हे हालांकि, यह ईरान के साथ सीधे युद्ध को भड़का सकता है, जिससे मध्य पूर्व में अस्थिरता बढ़ेगी। ट्रम्प प्रशासन ने पहले ही ईरान पर कड़े प्रतिबंधों की घोषणा की है, लेकिन ये प्रतिबंध तत्काल आपूर्ति संकट को हल नहीं कर सकते।
निष्कर्ष ईरान द्वारा होर्मुज जलडमरूमध्य बंद करने या तेल आपूर्ति काटने से अमेरिका को आर्थिक और भू-राजनीतिक चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा। तेल कीमतों में वृद्धि, मुद्रास्फीति, और सहयोगियों पर दबाव अमेरिका की स्थिति को कमजोर कर सकता है। हालांकि अमेरिका के पास सैन्य और रणनीतिक विकल्प हैं, लेकिन इनका उपयोग क्षेत्रीय युद्ध को बढ़ावा दे सकता है। इस स्थिति में कूटनीति और तनाव कम करने की जरूरत है।